अथर्ववेद (कांड 5)
यू॒यमु॒ग्रा म॑रुतः पृश्निमातर॒ इन्द्रे॑ण यु॒जा प्र मृ॑णीत॒ शत्रू॑न् । सोमो॒ राजा॒ वरु॑णो॒ राजा॑ महादे॒व उ॒त मृ॒त्युरिन्द्रः॑ ॥ (११)
हे मरुतो! तुम उग्र कर्म करने वाले हो. तुम इंद्र के साथ मिल कर शत्रुओं का मर्दन करो. सोम राजा, वरुण राजा, महादेव और मृत्युदेव इंद्र का सहयोग करें. (११)
O Maruto! You are going to do furious deeds. You should kill enemies together with Indra. Support Som Raja, Varuna Raja, Mahadev and Mrityudev Indra. (11)