ऋग्वेद (मंडल 5)
यथा॒ वातो॒ यथा॒ वनं॒ यथा॑ समु॒द्र एज॑ति । ए॒वा त्वं द॑शमास्य स॒हावे॑हि ज॒रायु॑णा ॥ (८)
“वायु, वन एवं समुद्र जिस प्रकार कांपते हैं, उसी प्रकार तुम्हारा दस मास का गर्भ जरायु के साथ बाहर आवे.” (८)
"Just as the air, the forest, and the sea tremble, so may your ten-month-old womb come out with Zarayu." (8)